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🌺✍️ चाहत ❤️chahat

✍️✍️✍️ हम हर किसी पर फिदा नहीं होते, तु जैसी भी हो,  जन्नत की परी भी,  हर किसी को नहीं लगती , तेरे कहने से हम , मोहब्बत तो नहीं भी कर सकते , पर हम अपनी चाहत को कम भी नहीं कर सकते , फिर हमारी चाहत का हिसाब मत रखना, ये ब्याज चुकाना भी तेरी बस का नहीं होगा ।।।।।। 🌺🌺🌺🌺🌺 Aniket Yadav

इश्क और जाम✍️✍️♥️ishk aur jam✍️

  🌺🌺🌺🌺 इश्क और जाम 🌺🌺🌺🌺🌺   इश्क पाने के चाह में जाम लिया, इश्क आने की खुशी में जाम लिया, फिर इश्क और जाम साथ साथ लिया, पर इश्क साथ छोड़ दिया। इस जाम की मदहोशी , इन आंखों पर अब भी छाई रही, इन्हें एक ओर इश्क आता धुंधला नजर आयी। दुबारा इश्क आने की खुशी में , और जाम पर जाम लिया । ये इश्क तो नहीं आई , पर जान लेकर चली गई। और तो पता भी नहीं चला , जान किसने ली इश्क ने ली या ............ने ली ✍️ ✍️  ✍️ ✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️                         Aniket Yadav

एक मलिन एहसास. Ek malin ehsas ❤️

Aniket Yadav                तेरे आने की अब न आश बची ,  न हालातों का साथ रही, रूह चलने का कारण भी एक मलिन एहसास बची। खु शबू पाने की चाहत में मै सींचता रहा तेरे ख्वाबों को, उसमें भी दर्द देने को अब सिर्फ कांटे है बची । मैं सह भी लेता तेरे इस कांटे की चुभन को, पर तुम हो महक किसी और की बगिया का, बस अब यही दर्द है नासूर बन जाती । तेरे आने की अब ना कोई आश बची, अधमरे रहने का कारण भी  एक मलिन एहसास बची। मैंने काट लिए सारे गम ,तेरे हिस्से में केवल खुशी रही। अनजाने मुलाकातों में भी यूं जो तुम नजरे फेर लेती, मेरे होने से भी अगर तुझे ऐतराज है , तो इतला क्यों नहीं कर देती? तेरे आने की तो कोई आश न है बची, खुद के साथ ही मिटा देंगे जो भी है एक मलिन एहसास बची। ✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️✍️ ANIKET YADAV